नई दिल्ली । आमतौर पर शरीर का पीला पड़ना खून की कमी (एनीमिया) माना जाता है, लेकिन इसके कई अन्य लक्षण भी होते हैं, जिन्हें हम अक्सर नजरअंदाज कर देते हैं। अगर समय रहते इन लक्षणों को पहचाना जाए, तो इससे होने वाली जटिलताओं से बचा जा सकता है।
खून की कमी होने पर सबसे सामान्य लक्षण थकान और कमजोरी है। जब शरीर को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिल पाती, तो व्यक्ति को लगातार थकावट महसूस होती है। यदि आपको उपरोक्त लक्षण महसूस हो रहे हैं, तो घबराने की बजाय समय रहते सही उपचार लेना चाहिए। आयरन युक्त आहार जैसे पालक, चुकंदर, और दालों का सेवन करें। साथ ही, डॉक्टर से सलाह लेकर आयरन की गोलियां या सिरप लें और नियमित जांच कराते रहें। यह परेशानी ऐसे समय में भी हो सकती है जब व्यक्ति ज्यादा मेहनत न कर रहा हो। सुबह उठने के बाद भी शरीर में सुस्ती और थोड़े से काम करने में भी थकान महसूस होती है।
इसके अलावा, खून की कमी के कारण मस्तिष्क तक पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं पहुंचती, जिससे सिरदर्द और चक्कर आने की समस्या हो सकती है। यह लक्षण तब और बढ़ जाते हैं जब व्यक्ति अचानक खड़ा होता है या सिर में भारीपन महसूस करता है। दिल की धड़कन का तेज़ होना भी खून की कमी का एक प्रमुख लक्षण है। जब शरीर में रक्त की कमी होती है, तो दिल को शरीर के अंगों तक ऑक्सीजन पहुंचाने के लिए ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है, जिससे दिल की धड़कन तेज़ हो जाती है।
इसके अलावा, त्वचा का पीला पड़ना भी एक सामान्य लक्षण है, लेकिन नाखूनों और होंठों का रंग बदलना भी खून की कमी के संकेत हो सकते हैं। सांस लेने में तकलीफ होना भी एक अहम लक्षण है। जब शरीर में खून की कमी होती है, तो फेफड़े ज्यादा मेहनत करते हैं और सांस लेने में दिक्कत महसूस होती है। हल्का चलने पर भी सांस फूलने लगती है। खून की कमी के कारणों में आयरन, फोलिक एसिड और विटामिन बी12 की कमी, महिलाओं में भारी मासिक धर्म, और शरीर में खून की सही मात्रा की कमी शामिल हैं।
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